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तुंगभद्रा डैम: क्या है और क्यों महत्वपूर्ण?

अगर आप हिमाचल प्रदेश के पानी की बात सुनते हैं तो तुंगभद्रा डैम का नाम ज़रूर आएगा। यह बाँध गढ़ी हुई नदी पर बना एक बड़ा जलसंधि है जो पीने, खेती और बिजली उत्पादन में मदद करता है। कई लोग इसे सिर्फ़ एक इंजीनियरिंग प्रोजेक्ट मानते हैं, लेकिन असल में इसका असर गांव‑गांव तक पहुंचता है।

मुख्य सुविधाएँ और उपयोग

डैम की कुल संग्रहण क्षमता लगभग 5 करोड़ क्यूबिक मीटर है, जो मौसमी बाढ़ को नियंत्रित करने में काम आती है। जलविद्युत टर्‍बाइन से साल भर 50 मेगावॉट तक बिजली पैदा होती है और यह कई छोटे शहरों को रोशन करती है। खेती वाले किसान अब निचले खेतों में भी पानी की कमी नहीं झेलते, क्योंकि डैम से नियमित सिंचाई मिलती है।

डैम के आसपास एक जलशक्ति नियंत्रण केंद्र बनाया गया है जहाँ तकनीकी टीम लगातार जल स्तर और आउटफ्लो को मॉनिटर करती है। इससे बाढ़ का जोखिम कम होता है और पानी की बचत भी बेहतर होती है। साथ ही, डैम के नीचे बने छोटे जलाशय में मछली पालन का काम शुरू हुआ है, जिससे स्थानीय लोगों को अतिरिक्त आय मिलती है।

पर्यटन और यात्रा टिप्स

तुंगभद्रा डैम सिर्फ़ एक कार्यात्मक संरचना नहीं, बल्कि एक बढ़िया पर्यटन स्थल भी है। सुबह‑सुबह यहाँ के झील किनारे पर टहलने से हवा में ठंडक का एहसास होता है और फोटो खींचना मजेदार रहता है। अगर आप स्नैक्स ले जाएँ तो पिकनिक की तैयारी कर सकते हैं, क्योंकि डैम के आसपास साफ़ जगहें मौजूद हैं।

सबसे अच्छा समय अक्टूबर‑नवंबर और फरवरी‑मार्च में आता है, जब मौसम न तो बहुत ठंडा होता है न ही ज्यादा गर्म। इस दौरान जल स्तर उचित रहता है, जिससे दृश्य अधिक आकर्षक दिखते हैं। स्थानीय टैक्सी या बस से पहुंचना आसान है; बस स्टॉप डैम से सिर्फ़ 5 किलोमीटर दूर है।

डैम के पास कुछ छोटे मंदिर और पारम्परिक गाँव भी हैं जहाँ आप हिमाचल की संस्कृति का अनुभव कर सकते हैं। अगर आप ट्रेकिंग में रूचि रखते हैं तो आसपास की पहाड़ी रास्ते पर एक दिन की पैदल यात्रा करना फायदेमंद रहेगा।

ध्यान रखें कि पानी के पास खेलने या कूदने से बचें, क्योंकि जल प्रवाह तेज़ हो सकता है। डैम के प्रबंधकों ने सुरक्षा संकेत लगाए हैं; उनका पालन करें ताकि कोई दुर्घटना न हो।

हाल ही में सरकार ने डैम की सैम्पलिंग तकनीक को अपडेट किया है जिससे पानी की गुणवत्ता पर बेहतर नियंत्रण रखा जा रहा है। यह कदम स्थानीय स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद माना गया है।

सारांश में, तुंगभद्रा डैम न केवल जल आपूर्ति और बिजली उत्पादन का केंद्र है, बल्कि एक बढ़िया घूमने‑फिरने की जगह भी बन चुका है। अगर आप हिमाचल प्रदेश के भीतर हैं या यात्रा योजना बना रहे हैं तो इस स्थान को अपनी लिस्ट में ज़रूर जोड़ें।

11 अग॰

कर्नाटक के तुंगभद्रा डैम का गेट टूटा, बाढ़ का पानी छोड़ा गया

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कर्नाटक के तुंगभद्रा डैम का गेट टूटा, बाढ़ का पानी छोड़ा गया

कर्नाटक के तुंगभद्रा डैम का एक गेट शनिवार रात टूट गया, जिससे बड़ी मात्रा में बाढ़ का पानी कृष्णा नदी में छोड़ा गया। इस घटना के बाद सुरक्षा को लेकर स्थानीय प्रशासन सक्रिय हो गया है और किसानों के लिए चिंता बढ़ गई है।

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